हेमंत सोरेन ने झारखंड विधानसभा में जीता विश्वास मत, सरकार को मिली स्थिरता

हेमंत सोरेन की शानदार जीत

झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अपनी सरकार को एक महत्वपूर्ण जीत दिलाई। विधानसभा में सोमवार को हुए विश्वास मत में उन्होंने 45 विधायकों का समर्थन हासिल किया। इस विश्वास मत के साथ हेमंत सोरेन की सरकार ने स्थिरता प्राप्त की है, जो राज्य के राजनीतिक माहौल के लिए महत्वपूर्ण है।

झारखंड विधानसभा की स्थिति

झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) द्वारा नेतृत्वित सत्ताधारी गठबंधन में कुल 45 विधायक हैं, जिनमें झारखंड मुक्ति मोर्चा के 27, कांग्रेस के 17 और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) का 1 विधायक शामिल है। विधानसभा की 81 सीटों में से इन विधायकों का समर्थन प्राप्त होना हेमंत सोरेन के लिए एक बड़ी उपलब्धि है।

विश्वास मत का राजनीतिक महत्व

हेमंत सोरेन ने पदभार संभालने के तुरंत बाद इस विश्वास मत का प्रस्ताव रखा था। यह प्रस्ताव उनके द्वारा झारखंड उच्च न्यायालय से जमानत प्राप्त करने के बाद पेश किया गया, जिसमें उन्हें एक कथित भूमि घोटाले के मामले में जमानत मिली थी। इस विश्वास मत ने न केवल उनकी सरकार को स्थिरता प्रदान की है, बल्कि विपक्ष के लिए भी एक महत्वपूर्ण संदेश भेजा है।

भाजपा और विपक्ष की प्रतिक्रिया

भाजपा और विपक्ष की प्रतिक्रिया

भाजपा और उनके सहयोगियों ने इस विश्वास मत को चुनौती देने का प्रयास किया था, लेकिन हेमंत सोरेन ने इस स्थिति पर पूरी तरह से नियंत्रण प्राप्त किया। विपक्ष के पास 30 सदस्य हैं, जो सत्ताधारी गठबंधन के 45 सदस्यों के मुकाबले छोटे संख्याबल में हैं। इस कारण से, विपक्ष के लिए विश्वास मत को जीतना असंभव हो गया था।

हेमंत सोरेन की राजनैतिक यात्रा

हेमंत सोरेन ने जुलाई 4 को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी, जो उनके पूर्ववर्ती चंपई सोरेन के इस्तीफे के बाद हुआ। हेमंत सोरेन को 31 जनवरी को प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा एक मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया गया था, जिसके बाद उन्होंने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था। हालांकि, झारखंड उच्च न्यायालय ने उन्हें 28 जून को जमानत प्रदान की, और इसके तुरंत बाद उन्होंने मुख्यमंत्री पद संभाला।

भविष्य की राजनीति

हेमंत सोरेन की यह जीत झारखंड की राजनीति में महत्वपूर्ण परिवर्तन ला सकती है। उनकी सरकार की स्थिरता राज्य में कई विकासात्मक योजनाओं और कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने में मदद करेगी। यह संभव है कि आने वाले समय में हेमंत सोरेन की सरकार विभिन्न मुद्दों पर अपनी पकड़ मजबूत करेगी और जनता के विश्वास को और अधिक मजबूत बनाएगी।

संभावित चुनौतियां

संभावित चुनौतियां

इस जीत के बाद भी, हेमंत सोरेन की सरकार के सामने कई चुनौतियाँ होंगी। विपक्ष हमेशा उनके हर कदम पर नजर रखेगा और किसी भी गलती का फायदा उठाने का प्रयास करेगा। इसके अतिरिक्त, राज्य के विकास और जनहित के कार्यों में तीव्रता लाने की जरूरत भी होगी।

आखिरी शब्द

हेमंत सोरेन की सरकार ने विश्वास मत जीतकर अपनी स्थिरता सिद्ध कर दी है, जो राज्य के राजनीतिक भविष्य के लिए एक सकारात्मक संकेत है। अब देखना होगा कि वे किस प्रकार से इन चुनौतियों का सामना करते हुए राज्य को प्रगति के पथ पर अग्रसर करते हैं।

टिप्पणि (16)

  1. Aashish Goel
    Aashish Goel

    ये सब तो बस धोखा है... जमानत मिली तो मुख्यमंत्री बन गए? अब क्या होगा अगर कोर्ट ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया तो?

  2. PRATAP SINGH
    PRATAP SINGH

    इस विश्वास मत को एक राजनीतिक नाटक कहना ज्यादा सही होगा। जिन लोगों ने इसे पारित किया, उनकी नैतिकता पर सवाल उठता है।

  3. Pushkar Goswamy
    Pushkar Goswamy

    अरे भाई... ये तो बस एक फॉर्मलिटी थी। विपक्ष के पास तो 30 ही सीटें हैं, जीतना तो मुश्किल ही था। अब जो लोग गुस्सा कर रहे हैं, उन्हें भी शांत होना चाहिए।

  4. Karan Kundra
    Karan Kundra

    हेमंत सोरेन ने बहुत मेहनत की है। अब उनकी सरकार को विकास पर ध्यान देना चाहिए, न कि पुराने मामलों में फंसे रहना।

  5. Akash Kumar
    Akash Kumar

    राजनीतिक स्थिरता एक आवश्यकता है, लेकिन न्यायिक प्रक्रिया की स्वतंत्रता का सम्मान भी अनिवार्य है। इस विश्वास मत के बाद जनता को यह जानने की आवश्यकता है कि न्याय कहाँ है।

  6. Andalib Ansari
    Andalib Ansari

    क्या विश्वास मत वास्तविक लोकतंत्र है या बस एक राजनीतिक ट्रिक? अगर कोई व्यक्ति जमानत पर है, तो क्या वह अभी भी राज्य का नेता हो सकता है? यह सवाल अभी भी बाकी है।

  7. krishna poudel
    krishna poudel

    ये सब बकवास है। जब तक ED ने उन्हें गिरफ्तार नहीं किया, तब तक ये सब बस एक नाटक था। अब जमानत मिल गई, तो वापस आ गए। कोई भी नेता ऐसा कर सकता है।

  8. Anila Kathi
    Anila Kathi

    लेकिन ये तो बहुत अच्छा हुआ 😊 अब झारखंड को विकास के लिए मौका मिलेगा। बस इतना ही चाहिए कि कोई भी बड़ा गलती न करे 😅

  9. Abhinav Dang
    Abhinav Dang

    इस सरकार को अब जनता के सामने जवाबदेह बनना होगा। विकास के नाम पर लाखों रुपये खर्च करना होगा, न कि राजनीतिक लाभ के लिए बेकार का नाटक।

  10. Akshay Srivastava
    Akshay Srivastava

    यह विश्वास मत न्याय के खिलाफ है। अगर कोई व्यक्ति मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में जमानत पर है, तो उसे अभी भी नेता बनने का अधिकार नहीं होना चाहिए। यह लोकतंत्र के लिए खतरा है।

  11. leo rotthier
    leo rotthier

    भाजपा को अपनी जगह लेनी चाहिए, अपने लोगों को जगाना चाहिए! ये सब बातें बस बेकार की चर्चा हैं। अब झारखंड को विकास चाहिए, न कि राजनीति!

  12. Vinay Vadgama
    Vinay Vadgama

    हेमंत सोरेन की सरकार के लिए यह एक नया आरंभ है। अब उन्हें जनता के विश्वास को बरकरार रखना होगा, और उनकी नीतियों का निरीक्षण भी करना होगा।

  13. Vasudev Singh
    Vasudev Singh

    हेमंत सोरेन के लिए यह विश्वास मत एक बड़ी जीत है, लेकिन इसके बाद जो चुनौतियाँ हैं, वो बहुत बड़ी हैं। राज्य के गरीबों को रोजगार देना, शिक्षा का विस्तार करना, स्वास्थ्य सुविधाओं को मजबूत करना - ये सब उनके लिए अब जिम्मेदारी बन गई है। अगर वे इन बातों पर ध्यान नहीं देंगे, तो यह विश्वास मत भी बस एक शोरबाजी साबित होगा। जनता अब बस बोलने वाले नहीं, बल्कि करने वालों को चाहती है।

  14. vasanth kumar
    vasanth kumar

    इतना बड़ा विश्वास मत और फिर भी जनता को लगता है कि कुछ गलत है। शायद ये सब तो बस एक बड़ा नाटक है।

  15. Pooja Shree.k
    Pooja Shree.k

    अब तो बस देखना है कि वे क्या करते हैं... बोलने की जगह काम करने की जरूरत है।

  16. Shankar V
    Shankar V

    ये सब एक योजना है... ED को जानबूझकर रोका गया था, ताकि वो विश्वास मत जीत सकें। अब जमानत मिल गई, तो वो वापस आ गए। ये कोई अदालत नहीं, ये राजनीति है। और ये सब जानबूझकर बनाया गया है।

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