तूफान डैरेन के असर से एवरटन बनाम लिवरपूल मैच स्थगित
तूफान डैरेन की भीषण चमक-दमक से इंग्लैंड का मर्सीसाइड क्षेत्र गंभीर रूप से प्रभावित हो रहा है। इस कारण से, प्रशंसकों की बड़ी उम्मीदों को झटका लगा जब खेलदीढ़ता के लिए महत्वपूर्ण मर्सीसाइड डर्बी मैच, जो एवरटन और लिवरपूल के बीच खेला जाने वाला था, सुरक्षा चिंताओं के मद्देनज़र स्थगित कर दिया गया। यह मैच 7 दिसंबर को निर्धारित समयानुसार होना था, लेकिन तूफान के कारण मौसम की स्थिति बहुत ही खतरनाक हो गई।
गुडिसन पार्क में दोनों क्लबों के अधिकारियों, मर्सीसाइड पुलिस और लिवरपूल सिटी काउंसिल के साथ एक आपातकालीन सुरक्षा सलाहकार समूह की बैठक आयोजित की गई थी। इस बैठक में, अधिकारियों ने मजबूत हिम महामुखota और 6 दिसंबर को सुबह 6 बजे तक चलने वाली आधे खतरे की चेतावनी के चलते मैच के दौरान सुरक्षा में कष्ट की प्रतिक्रिया दी। उनकी प्राथमिकता प्रशंसकों, खिलाड़ियों और स्टाफ की सुरक्षा थी। इसलिए, मैच को स्थगित करने का निर्णय लिया गया।
यह निर्णय ऐसे समय में लिया गया जब तूफान के चलते रात में भी तीव्र हवाओं और यात्रा संबंधी व्यवधानों का सामना करना पड़ रहा था। ऐसे समय में निर्णय ने खिलाड़ियों और प्रशंसकों की सुरक्षा को सर्वोपरि रखते हुए सही सिद्धांत सुरक्षित किया। तूफान आने के पहले ही कई सड़कें और यातायात प्रभावित हो चुके थे, जो यात्रा को जोखिमपूर्ण बना रहे थे।
एवरटन और लिवरपूल ने इस अव्यवस्था के लिए खेद व्यक्त करते हुए अपने प्रशंसकों से माफी मांगी और जोर देकर कहा कि सभी प्रभावितों की सुरक्षा उनके लिए सबसे महत्वपूर्ण है। प्रशंसकों को यह सूचित कर दिया गया है कि जो टिकट उन्होंने मैच के लिए खरीदे थे, वे नए नीयत किए गए तारीख में भी मान्य रहेंगे।
फुटबॉल पर पड़ता मौसम का प्रभाव
यह मौजूदा स्थिति एक बार फिर से यह साबित करती है कि कैसे मौसम की अनिश्चितता फुटबॉल जैसे खेल पर प्रभाव डाल सकती है। इस मैच के स्थगन ने एक बार फिर इस बात को उजागर किया है कि सुरक्षा को किसी भी चीज़ से ऊपर रखा जाना चाहिए। दोनों क्लबों ने अपने सभी प्रशंसकों और पदाधिकारियों का मनोबल बनाए रखा है और नए तारीख के भीतर मैच के आयोजन की संभावनाओं पर विचार-विमर्श कर रहे हैं।
तूफान डैरेन के दिखाए गए प्रभाव से यह अनुमान लगाया जा सकता है कि ऐसे हालात में किसी भी प्रकार की सामान्य दिनचर्या का पालन कितना कठिन हो सकता है। इसके मद्देनजर यह उचित समझा गया कि जिस फिली डे में खिलाड़ियों और दर्शकों की एकत्री के प्रयास किए जा रहे थे, उसे पोस्टपोन कर दिया जाए ताकि लोगों के स्वास्थ्य और सुरक्षा के दिशा में कोई कमी ना रहे।
नई तारीख की संभावनाएं
फिक्स्चर शेड्यूल को देखते हुए, मैच की नई तारीख जल्द ही घोषित की जाएगी। उम्मीद की जा रही है कि यह मैच अगले वर्ष फरवरी के महीने के मध्य में आयोजित हो सकता है, जो लिवरपूल के कराबाओ कप और चैंपियंस लीग के प्रतियोगिताओं की प्रगति पर निर्भर करेगा। प्रशंसकों का धैर्य इस समय उनके प्रिय क्लबों के प्रति उनके प्रेम का प्रतीक है।
यह घटना दिखलाती है कि कैसे प्रतिकूल मौसम संबंधी स्थितियां फुटबॉल के पुराने समय-सारणी को बदल सकती हैं, लेकिन हर बार सुरक्षा सर्वोपरी है।
ये तूफान डैरेन तो बस इंग्लैंड का नहीं, पूरे यूरोप का बाप बन गया है! लिवरपूल और एवरटन के बीच डर्बी का मैच रद्द हो गया तो भी मैंने देखा कि इंग्लिश लोगों का दिमाग बर्फ से ज्यादा ठंडा हो गया है। अगर ये मैच भारत में होता तो हम बारिश में भी खेल देते, बस बर्फ नहीं आई तो मैच रद्द कर दिया? ये तो बस आलस का नाम है।
मैंने इस निर्णय को बहुत समझदारी से लिया गया माना है। जब तूफान के दौरान हवाएं 100 किमी/घंटा से भी ज्यादा चल रही हों, और बर्फ के तूफान के कारण सड़कें अक्षम हो जाएं, तो यह बहुत जरूरी है कि लाखों प्रशंसकों को बाहर न भेजा जाए। ये निर्णय केवल सुरक्षा का नहीं, बल्कि जिम्मेदारी का भी प्रतीक है। ये बात बहुत सारे देशों में सीखनी चाहिए जहां लोग बारिश में भी मैच खेलने की मांग करते हैं।
सुरक्षा सर्वोपरी? बस एक बहाना है। अगर ये मैच रियल मैड्रिड बनाम बार्सिलोना होता तो वहां बर्फ के बीच भी खेल देते। ये इंग्लैंड का अंदरूनी डर है। लोगों को बाहर नहीं जाने देना चाहिए, वो तो अपने घरों में बैठे चाय पी रहे हैं।
हम सब जानते हैं कि ये मैच बहुत बड़ा है और प्रशंसकों के लिए बहुत खास है लेकिन जब बर्फ और हवा जिंदगी ले सकती है तो खेल को रोकना एक अच्छा फैसला है। आप लोग बस इंतजार करें और अगली बार जब मैच होगा तो ज्यादा उत्साह से जुड़ें। आपकी सुरक्षा सबसे ज्यादा मायने रखती है
इंग्लैंड का ये डर बस एक बहाना है! जब तक बर्फ नहीं आई तो ये लोग खेलने को तैयार थे, अब बर्फ आ गई तो डर गए? ये नहीं जानते कि भारत में बारिश में भी फुटबॉल खेला जाता है? ये लोग तो अपने घरों में बैठे बर्फ के बारे में डर रहे हैं! ये मैच रद्द करने का ये निर्णय बेकार है!
इस निर्णय को आधिकारिक रूप से समर्थन देना आवश्यक है। फुटबॉल के इतिहास में ऐसे निर्णयों का एक व्यवस्थित ढांचा है, जिसमें सुरक्षा के लिए आपातकालीन प्रोटोकॉल को प्राथमिकता दी जाती है। यह एक नियमित और विश्वसनीय प्रक्रिया है जिसे निजी भावनाओं के आधार पर नहीं बदला जा सकता।
इंग्लैंड की इस भावना को समझना चाहिए। यहां के लोगों के लिए मैच केवल खेल नहीं, बल्कि सामाजिक एकता का प्रतीक है। इसलिए जब तूफान आता है तो वे अपने लोगों की सुरक्षा को सबसे ऊपर रखते हैं। यह एक सभ्य समाज का लक्षण है।
क्या आपने कभी सोचा कि ये तूफान डैरेन असल में ब्रिटिश गवर्नमेंट का एक अंतर्निहित योजना है? जिसका उद्देश्य लोगों को घरों में बंद रखना है? अगर आप इंग्लैंड के सरकारी वेबसाइट्स पर जाएं तो आप देखेंगे कि ये सभी चेतावनियां एक ही दिन में जारी की गईं। ये तो एक विशाल नियंत्रण अभियान है।
मैंने देखा कि गुडिसन पार्क के बाहर बर्फ के ढेर बहुत बड़े हैं... और लोग अभी भी टिकट लेने के लिए लाइन में खड़े हैं? मैंने तो सोचा था कि मैच रद्द हो गया है... लेकिन अब लग रहा है कि शायद वो टिकट वाले लोग भी नहीं जानते? ये तो बहुत अजीब है... यार, क्या ये बर्फ के बाद भी लोग घूम रहे हैं? अच्छा तो अब मैच तो नहीं होगा... लेकिन लोग अभी भी बाहर हैं? वाह... बस इतना ही...
हम भारतीय हैं और हम जानते हैं कि फुटबॉल क्या है। ये लोग बर्फ के डर से मैच रद्द कर देते हैं? हमारे देश में तो बारिश में भी मैच खेले जाते हैं। ये इंग्लैंड की दुर्बलता है। अगर ये मैच भारत में होता तो हम बर्फ के बीच भी गाने गाते और खेलते। ये लोग तो बस घर में बैठे चाय पी रहे हैं!
मैं बहुत खुश हूं कि इन क्लबों ने सुरक्षा को प्राथमिकता दी। ये निर्णय बहुत बड़ा है और ये दिखाता है कि वे अपने प्रशंसकों के प्रति जिम्मेदार हैं। आप सब बस इंतजार करें, अगला मैच और भी ज्यादा शानदार होगा। आपका समर्थन बहुत मायने रखता है
इस निर्णय को आदर्श रूप से लिया गया है। फुटबॉल के खेल में भी मानवीय मूल्यों को ऊपर रखना आवश्यक है। यह एक उच्च स्तरीय नैतिकता का प्रतिनिधित्व करता है और इसे विश्व स्तर पर प्रशंसा की जानी चाहिए।
मैं तो सोच रहा था कि ये लोग बर्फ के बीच भी खेल देंगे... लेकिन नहीं, ये लोग तो बस अपने घरों में बैठे हैं। ये मैच रद्द हो गया तो भी इंग्लैंड की फुटबॉल संस्कृति अभी भी बहुत कमजोर है। भारत में तो बारिश में भी लोग खेलते हैं। ये लोग तो बस डर रहे हैं।
ये तो बहुत अच्छा हुआ कि मैच स्थगित हो गया। लोगों की सुरक्षा को प्राथमिकता देना हमेशा सही होता है। इस तरह के निर्णय दिखाते हैं कि फुटबॉल बस खेल नहीं, बल्कि एक सामाजिक जिम्मेदारी है। अगली बार जब मैच होगा तो उसमें और भी ज्यादा उत्साह देखने को मिलेगा।
अरे भाई, ये तूफान डैरेन क्या है? ये तो बस एक छोटी सी हवा है। अगर ये मैच भारत में होता तो हम बारिश में भी खेल देते। इंग्लैंड के लोग तो बस बर्फ के डर से घर में बैठे हैं। ये तो फुटबॉल की नहीं, डर की बात है।
मैच रद्द हो गया तो भी ये निर्णय बहुत अच्छा है 😊 लोगों की सुरक्षा सबसे ज्यादा मायने रखती है और ये दिखाता है कि क्लब अपने प्रशंसकों के प्रति जिम्मेदार हैं। अगली बार जब मैच होगा तो बहुत बड़ा उत्सव होगा ❤️
मैंने इंग्लैंड के लोगों को देखा है। वो बर्फ के बीच भी चलते हैं। लेकिन ये मैच रद्द करने का फैसला अच्छा है। इससे लोगों को एहसास होगा कि सुरक्षा को प्राथमिकता देना जरूरी है।
ये मैच रद्द होना एक गहरा दार्शनिक प्रश्न उठाता है। क्या खेल का अर्थ केवल जीत और हार में है? या ये तो जीवन के अनिश्चितता का प्रतिनिधित्व करता है? जब बर्फ आती है, तो हम अपनी योजनाओं को बदलते हैं। ये बताता है कि हम जीवन के बहुत से पहलूओं को नियंत्रित नहीं कर सकते। इसलिए, ये निर्णय एक विशाल जीवन दर्शन का प्रतीक है।
मैच रद्द हो गया, लेकिन लोगों की सुरक्षा सबसे ज्यादा मायने रखती है। ये बहुत अच्छा है।